*पत्रकार के ऊपर डंडे और लोहे के रॉड से प्राणघातक हमला, सिर पर गंभीर चोंट लगने से अस्पताल में चल रहा उपचार, मामला दर्ज*
छत्तीसगढ़ उजाला - प्रतीक सोनी

बिलासपुर (छत्तीसगढ़ उजाला)। शहर के कोतवाली थाना क्षेत्र अंतर्गत आधी रात को पत्रकार के ऊपर जानलेवा हमला होने का सामने आया है। खून से लथपथ पत्रकार ने देर रात थाना पहुंच अपनी शिकायत दर्ज कराई है।
दरअसल, पीड़ित ने बताया कि वह कोरबा जिला के वनांचल छेत्र मोरगा क्षेत्र में एक संस्थान में बतौर संवाददाता काम करता है। पत्रकार हजरत खान को रविवार की रात्रि 3:00 के लगभग बिलासपुर के कोतवाली थाना क्षेत्र में प्राणघातक हमला हो गया। जिससे पत्रकार हजरत खान के सिर में गंभीर चोटें आई है।
क्या है मामला
पूरा मामला यह है कि मोरगा चौंकी के ग्राम मोरगा थाना बांगो जिला कोरबा का रहने वाला पत्रकार हजरत खान दिनांक 23/08/2025 को भतीजी सबाना खान ने फोन कर बताई कि मेरी बेटी आलिया खान ने थाना में मेरे खिलाफ शिकायत दी है, जिसके संबंध में मेरी बेटी को आप समझाना है, पढाई- लिखाई नही करती है, मोबाइल में खेलती रहती है पढाई-लिखाई के लिये बोली तो थाना में जा के मेरे को मां डाटती है, बोलकर शिकायत की है।
बहन के कहने पर पीड़ित गांव के स्वेता तंवर के साथ आकर अपनी भतीजी सबाना के घर जाकर आलिया खान को पढाई लिखाई में ध्यान दो कह कर समझाये उसके बाद मेरी भतीजी सबाना खान ने बोली की चाचा-खाना खा लेना, रात में यही रूक जाना कहने पर पीड़ित और स्वेता तंवर आलिया खान के साथ मेरी भतीजी की किराये की मकान में सोए थे, रात्रि लगभग 03:10 बजे संत कुमार तिवारी अपने लगभग कुछ साथियों के साथ घर अंदर घुसकर कहता है कि इस घर का किराया मैं पटाता हूं, पढाई लिखाई का खर्चा भी मैं देता हूं। तुम कौन होते हो यहां आकर सोने वाले, कहते हुए पत्रकार को मां बहन की गंदी-गंदी गाली गलौच देते हुये जान से मारने की धमकी दी बात इतनी बढ़ गई कि संत कुमार ने हाथ मुक्का एवं डंडा, लोहे के रॉड से मारपीट कर दी। जिससे पत्रकार हजरत खान के हाथ, पैर, सिर में गंभीर चोट आया है। घटना के सबंध में पीड़ित ने अपनी पत्नी रेश्मा, मेरा साला शेख अकिल को बताया। फिलहाल थाना सिटी कोतवाली पुलिस ने बीएनएस की धारा 296, 115(2) 351(2) 333, 3(5) के तहत मामला दर्ज कर जांच में लिया है।
पत्रकारों पर हमले की घटनाएं आम
बीते दिन एक फोटो जर्नलिस्ट शेखर गुप्ता पर भी कोतवाली क्षेत्र में कुछ बदमाशों ने शराब पीने से मना करने पर पिटाई की थी। पत्रकारों पर हमले की घटनाएं देश में आम हो गई हैं। कई मामलों में पत्रकारों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा है या गंभीर चोटें आई हैं। इन घटनाओं के पीछे कई कारण हो सकते हैं, जिनमें से एक प्रमुख कारण है पत्रकारों का उजागर करने का काम करना सच्चाई से बचने के लिए यह षडयंत्र रचा गया।