…..छत्तीसगढ़ उजाला सियासत….
रायपुर:छत्तीसगढ़ में सांय सांय वाली सरकार में हर दिन किसी न किसी मंत्री की चर्चा राजनैतिक गलियारों में बनी रहती है.मामा मंत्री भांजा ओएसडी की कहानी जोरो पर है.सूत्रों के अनुसार भांजे ने मामा के चुनाव में अच्छा खासा इन्वेस्ट किया था.इसलिए मामा के मंत्री बनते ही बंगले में ओएसडी बनकर धमक गए.मामा सगा तो नहीं पर सगे से भी बढ़कर है.भांजे ने आते ही अपनी बेहतरीन कार्यशैली से मामा को तो लाल कर ही दिया साथ ही अपनी तिजोरी भी अच्छी तरह से भर ली.ओएसडी को पूर्व की सरकार में किये काम का भी अच्छा फायदा मिला.
सूत्रों के अनुसार इस ओएसडी ने पूर्व की सरकार में रेत का बड़ा कारोबार करके करोड़ो की कमाई की थी.मामा को कमाऊ पूत रेडीमेड ही मिल गया.मंत्री के कारनामो से पार्टी संगठन के साथ ही विधायक भी नाराज. बताये जा रहे है.मंत्री की पार्टी कार्यालय में अच्छी क्लास भी लगाई गयी तो सारा मामला ओएसडी पर ही फोड़ दिया .अपनी ओर से कार्रवाही करने की बात भी कह दी. पार्टी के नेताओ को बताया की मैं खुद ओएसडी की करतूतों से परेशान हु.ओएसडी को हटाना मंत्री को सही फैसला भी नहीं लगा. ओएसडी और मंत्री ने मिलकर खूब खेल खेला.सो पार्टी नेताओ को भी चकमा देने में भी पीछे नहीं रहे.एक फ़िल्मी गाना यहाँ सटीक बैठता है….गोलमाल है भाई सब गोलमाल है
कुछ दिनों पहले तबादले के खेल में कई करोड़ रुपयों की कमाई मंत्री ने की थी जिसकी चर्चा बाजारों में भी बनी हुई थी.ओएसडी का खेल मामा के मंत्री बनते ही शुरू हो गया था.सुनने में यह भी आ रहा है कि भाजपा संगठन ने ओएसडी को हटाने को लेकर फरमान भी जारी किया है.मंत्री को शायद इससे कुछ भी फर्क नहीं पड़ रहा है.फिलहाल मंत्री ने ओएसडी को अपने बंगले में अंदर बैठालकर रखा हुआ है.मंत्री के सारे कार्य का संचालन आज भी यही ओएसडी कर रहा है.अब ऐसा लगने लगा है की मंत्री जी संगठन मंत्री को भी ज्यादा भाव नहीं दे रहे है.सांय सरकार के मंत्री अब पार्टी नेताओ को भी चकमा देने में माहिर हो गए है.नई सरकार के नए नवेले मंत्रियो की मनमानी की चर्चा आज पुरे प्रदेश में बनी हुई है.