*दो ननों की गिरफ्तारी के बाद प्रदेश में सियासत गरमाई, जानिए भाजपा – कांग्रेस की बयान बाजी*
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रायपुर (छत्तीसगढ़ उजाला)। दुर्ग में दो ननों की गिरफ्तारी के बाद राज्य में सियासत गरमा गई है। जहां कांग्रेस और वामपंथी दल गिरफ्तारी के विरोध में खुलकर सामने आए हैं, वहीं भाजपा ने इसे आदिवासी बेटियों की रक्षा से जोड़ा है। भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष विकास मरकाम ने कांग्रेस की आक्रामकता को हास्यास्पद बताते हुए कहा कि यह पार्टी वर्षों से अल्पसंख्यक तुष्टिकरण की राजनीति करती रही है और अब मतांतरण के गंदे कारोबार को खुला समर्थन दे रही है।
मरकाम ने कांग्रेस नेताओं से सवाल करते हुए कहा कि क्या भारत के राष्ट्रपति द्वारा दत्तकपुत्र माने जाने वाले अबूझमाड़िया समाज की बेटियों को बहला-फुसलाकर बाहर ले जाने के प्रयास का समर्थन करना कांग्रेस की आदिवासी नीति है? उन्होंने जोर देते हुए कहा कि इस प्रकार की राजनीति से कांग्रेस को कोई राजनीतिक लाभ नहीं मिलने वाला है, बल्कि उनकी और भद्द पिटने वाली है। क्योंकि जनता मतांतरण और मानव तस्करी के समर्थन में खड़े होने वालों को नकारती है।
वहीं, अबूझमाड़िया समाज कल्याण समिति ने भी राज्यपाल और मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपते हुए मिशनरियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। समिति ने आरोप लगाया कि अबूझमाड़ क्षेत्र में प्रलोभन देकर सुनियोजित तरीके से मतांतरण कराया जा रहा है।
ईसाई गतिविधियों को कांग्रेस की शह: विकास मरकाम
मरकाम ने कांग्रेस की पूर्ववर्ती भूपेश बघेल सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि उनके शासन में ईसाई मिशनरियों की गतिविधियों को बढ़ावा मिला, विशेषकर ग्रामीण और आदिवासी इलाकों में। उन्होंने यह भी कहा कि इन गतिविधियों को विदेशी फंडिंग और कांग्रेस नेताओं की शह प्राप्त थी, जो अब किसी से छुपी नहीं है।
कांग्रेस का भाजपा, बजरंग दल और आरएसएस पर निशाना
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष दीपक बैज ने इस मामले को भाजपा सरकार की तानाशाही बताते हुए कहा कि बजरंग दल और आरएसएस के एजेंडे के तहत ननों को बिना जांच के गिरफ्तार कर जेल भेजा गया। उन्होंने आरोप लगाया कि स्टेशन पर बजरंग दल के लोगों ने ननों के साथ मारपीट की और सरकार ने बिना किसी पुख्ता सबूत के गिरफ्तारी कर ली। बैज ने यह भी दावा किया कि केरल भाजपा अध्यक्ष राजीव चंद्रशेखर ने स्वयं कहा है कि गिरफ्तार ननों का मतांतरण या मानव तस्करी से कोई लेना-देना नहीं है।
इस बीच विश्व हिंदू परिषद, बजरंग दल और अन्य हिंदू संगठनों ने भी कांग्रेस की ननों के समर्थन में सक्रियता पर तीखा हमला बोला है। विश्व हिंदू परिषद के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष चंद्रशेखर वर्मा ने कहा कि जो लोग संसद में हंगामा कर रहे हैं, उन्हें इसका जवाब देना चाहिए।
उन्होंने कहा कि हिंदू समाज उदार और सहिष्णु है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि वह चुप रहेगा। उन्होंने कहा कि अन्य देशों में मतांतरण पर कोई सवाल नहीं उठता क्योंकि वहां हिंदू अल्पसंख्यक हैं, लेकिन भारत में हिंदू समाज सबके अधिकारों की रक्षा करता है।
प्रदर्शन करने वाले चर्चों में करें बैठकें: बजरंग दल
बजरंग दल के प्रांतीय संयोजक ऋषि मिश्रा ने भी कांग्रेस पर तीखा प्रहार करते हुए कहा कि प्रदर्शन करने वाले नेताओं को चर्चों में जाकर बैठकें करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि जिन लड़कियों को बहला-फुसलाकर ले जाया जा रहा था, उन्होंने रास्ते में जब मना किया तो पास्टर ने उन्हें जबरदस्ती साथ चलने के लिए मजबूर किया। उन्होंने यहां तक कह दिया कि प्रदर्शन कर रहे नेताओं को अपना डीएनए टेस्ट कराना चाहिए कि उनमें हिंदुत्व है भी या नहीं।