सोना एक खास धातु है जिसे कई लोग शुभ और फायदेमंद मानते हैं। कुछ लोगों का ये भी कहना है कि सोना सूर्य का धातु है और ये हमें ताकत देता है। मान्यताओं के अनुसार सोने की अंगूठी पहनने से सेहत और भाग्य दोनों ही अच्छा रहता है। मगर अक्सर आपने सुना होगा कि मध्यमा उंगली यानी बीच वाली उंगली में सोने की अंगूठी नहीं पहननी चाहिए। वैसे तो आमतौर पर लोग अनामिका उंगली में अंगूठी पहनना पसंद करते हैं लेकिन कुछ लोग मध्यमा उंगली में सोने की अंगूठी पहनना चाहते हैं। मगर ज्योतिष शास्त्र में इसे गलत माना गया है। ज्योतिष शास्त्र में ये भी बताया गया है कि मध्यमा उंगली में सोने की अंगूठी से अशुभ फल मिल सकते हैं। इसलिए आइए इस लेख में विस्तार से जानते हैं कि आखिर क्यों मध्यमा उंगली में सोने की अंगूठी नहीं पहननी चाहिए।
क्यों नहीं पहननी चाहिए सोने की अंगूठी मध्यमा उंगली में?
ज्योतिष के अनुसार, सोना सूर्य ग्रह का कारक माना जाता है और वहीं मध्यमा उंगली शनि ग्रह से जुड़ी हुई है। ज्योतिष शास्त्र में सूर्य और शनि को एक-दूसरे का शत्रु माना जाता है। इसलिए, मध्यमा उंगली में सोने की अंगूठी पहनने से अशुभ फल मिल सकते हैं। यही कारण है कि बड़े-बड़े ज्योतिष भी मध्यमा उंगली में अंगूठी पहने से मना करते हैं।
सोने की अंगूठी मध्यमा उंगली में पहनने के नुकसान
सूर्य ग्रह को ग्रहों का राजा माना जाता है। मान्यताओं के अनुसार इससे हमें आत्मविश्वास, सम्मान, शक्ति और खुद पर नियंत्रण रखने की क्षमता मिलती है। वहीं शनि ग्रह मेहनत, अनुशासन और व्यवस्था के प्रतीक माने जाता है। चूंकि ये दोनों ग्रह एक-दूसरे के विरोधी हैं, इसलिए इनकी अंगूठी एक साथ पहनने से इनके सकारात्मक प्रभाव कम हो जाते हैं। ऐसा माना जाता है कि मध्यमा उंगली में सोने की अंगूठी पहनने से धन और करियर से जुड़ी दिक्कतें आ सकती हैं। माना जाता है कि मध्यमा उंगली में सोने की अंगूठी पहनने से शादीशुदा जिंदगी में भी परेशानी आ सकती है।
इसके अलावा, ऐसा भी कहा जाता है कि इससे पिता और पुत्र के रिश्तों में तनाव आ सकता है और दोनों के आत्मविश्वास में कमी हो सकती है। सूर्य गर्म और तेजस्वी ग्रह है जबकि शनि ठंडा और शांत ग्रह है। दोनों को एक साथ पहनना ठीक नहीं माना जाता है क्योंकि इससे फायदे कम और नुकसान ज्यादा हो सकते हैं। इसलिए ज्योतिष के अनुसार सूर्य और शनि की ये ऊर्जाएं एक-दूसरे के बिलकुल विपरीत होती हैं।