साहिबगंज जिले में एयरपोर्ट के निर्माण के लिए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भी पहल की है। ऐसे में उम्मीद है कि जल्द ही यहां एयरपोर्ट निर्माण का मार्ग प्रशस्त हो जाएगा। यहां एयरपोर्ट का निर्माण हो गया तो साहिबगंज राज्य का इकलौता जिला होगा जो रेल, सड़क, जल व वायु मार्ग से जुड़ा होगा।
इन जिलों के लोगों को होगा फायद
एयरपोर्ट निर्माण से झारखंड के साहिबगंज, पाकुड़ व गोड्डा के महागामा अनुमंडल के लोगों के साथ-साथ निकटवर्ती कटिहार व भागलपुर तथा पश्चिम बंगाल के मालदा जिले के लोगों को भी फायदा होगा। गंगा पर बन रहा पुल अगले साल तक चालू हो जाएगा जिसके बाद इस रास्ते नेपाल जाना भी आसान हो जाएगा।
साहिबगंज में एयरपोर्ट के लिए चिह्नित जमीन से कटिहार जिला मुख्यालय की दूरी करीब 35 किलोमीटर है। ऐसे में कटिहार के लोगों के लिए भी यह सबसे नजदीकी एयरपोर्ट होगा।
चूंकि यहां मल्टी मॉडल टर्मिनल का निर्माण भी कराया गया है ऐसे में भविष्य में वहां से जहाजों का परिचालन शुरू हुआ तो कारोबारियों की आवाजाही भी जिले में बढ़ेगी जिसके लिए एयरपोर्ट जरूरी होगा।
443.32 एकड़ भूमि चिह्नित
एयरपोर्ट निर्माण के लिए सदर अंचल के हाजीपुर भिट्ठा दियारा में 443.32 एकड़ असर्वेक्षित भूमि चिह्नित कर इसी माह के पहले सप्ताह में नगर विमानन विभाग को रिपोर्ट भेजी गई थी। हालांकि, करीब दो साल पूर्व भी जिले में एयरपोर्ट निर्माण की पहल शुरू हुई थी। तब बोरियो अंचल में 139.50 एकड़ भूमि चिह्नित कर रिपोर्ट भेजी गई थी।
एयरपोर्ट अथॉरिटी की टीम ने जमीन का सर्वे भी किया था लेकिन स्थानीय विधायक लोबिन हेम्ब्रम के नेतृत्व में ग्रामीणों ने इसका विरोध कर दिया। इस वजह से मामला ठंडे बस्ते में चला गया।
पिछले माह परिवहन विभाग (नगर विमानन) विभाग ने उपायुक्त को पत्र लिखकर एयरपोर्ट के लिए वैकल्पिक भूमि चिह्नित करने को कहा था। इसी आलोक में वैकल्पिक जमीन चिह्नित कर विभाग को रिपोर्ट भेजी गई है।
विधायक की मांग पर अगले दिन ही भेजा पत्र
22 जुलाई को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन राजमहल में योजनाओं का लोकार्पण व शिलान्यास समारोह में पहुंचे थे। इस दौरान राजमहल विधायक अनंत ओझा ने मंच से ही इस मामले को उठाया।
उसके अगले ही दिन मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने नागर विमानन मंत्री किंजरापु राममोहन नायडू को पत्र लिखकर साहिबगंज में एयरपोर्ट निर्माण के लिए पहल करने का अनुरोध किया।
पत्र में मुख्यमंत्री ने क्या लिखा?
पत्र में मुख्यमंत्री ने लिखा है कि यह एयरपोर्ट सामरिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण होगा, क्योंकि यहां से चीन व बांग्लादेश की दूरी काफी कम है। ऐसे में यह जरूरत पड़ने पर वायुसेना को भी सहायता प्रदान कर सकता है।
वैसे सारी कवायद भारतीय विमान पत्तन प्राधिकरण की प्री फिजिविलिटी रिपोर्ट पर निर्भर करेगी। जल्द ही प्राधिकरण की टीम चिह्नित जमीन के सर्वेक्षण के लिए यहां आएगी।
साहिबगंज के उपायुक्त हेमंत सती ने विभाग के निर्देश पर सदर प्रखंड के हाजीपुर भिट्ठा दियारा में एयरपोर्ट निर्माण के लिए 443.32 एकड़ जमीन चिह्नित कर भेज दी गई है। एयरपोर्ट निर्माण से निश्चित रूप से जिले के विकास की रफ्तार तेज होगी।